अमिताभ सुपरमैन, शाह रुख स्पाइडरमैन
७ मार्च २०११यह कोई नई फिल्म नहीं, बल्कि यह अवतार इतालवी पॉप कलाकार की कल्पना का हिस्सा हैं. डेविड सेजारिया ने अमिताभ बच्चन, अनिल कपूर और शाहरुख खान के यह अवतार मुंबई में पॉप आर्ट एक्जिबिशन के तहत प्रस्तुत किए हैं. भारत में इटली के नियो-पॉप आर्ट की यह पहली प्रदर्शनी है.
मुंबई में जारी दादउमपॉप नाम की यह प्रदर्शनी आगे दिल्ली में भी लगाई जाएगी. सेजारिया साल भर भारत में रहेंगे और इस दौरान वह विशेष काम करेंगे. अभी जारी प्रदर्शनी में सेजारिया के थ्री डी इन्स्टॉलेशन खास आकर्षण हैं. यह प्रदर्शनी इतालवी दूतावास के सहयोग से लगाई गई है.
इगोर जांटि ने बताया, "पॉप मूवमेंट की शुरुआत यूरोप में हुई और मैं फ्रांसिसी कलाकार मार्सेल डुशां को पॉप आर्ट का जनक मानता हूं. यूरोप से यह अमेरिका गई जहां एंडी वारहोल मशहूर हुए. कला की दूसरी मूवमेंट एशिया में शुरू हुई. खासकर जापान में. और दुनिया भर के पॉप कलाकारों पर भारत का बड़ा प्रभाव है. भारतीय कलात्मकता मूलतः पॉप है." जांटि कहते हैं कि चाहे बॉलीवुड हो, त्यौहार हों या भगवान, भारतीय संस्कृति उन तत्वों से भरपूर है जो पॉप आर्ट को विशिष्ट बनाते हैं. पॉप आर्ट रंगो के इस्तेमाल के कारण दूसरी चित्रकला से अलग है और भारत इतना रंग बिरंगा देश है. बॉलीवुड के हीरो हीरोइनों में भी यह कलात्मकता है.
जांटि मानते हैं कि यह कला सिर्फ रंगों और कार्टून से जुड़ी हुई नहीं है. पॉप आर्ट राजनैतिक तंज है. वह टेरेसा मोरेली की एक पेंटिंग की ओर इशारा करते हैं जिसमें डिजनी प्रिंसेंस स्नोव्हाइट को पुरुष के रूप में दिखाया गया है जो कि एक ट्रांसजेनिक सेब खा रहा है. "यह जेनेटिकली बदले गए खाने के बारे में टिप्पणी है जो इसके सामाजिक और स्वास्थ्य पर प्रभावों की ओर इशारा करती है."
रिपोर्टः पीटीआई/आभा एम
संपादनः उ भट्टाचार्य