प्रणब बने भारत के 13वें राष्ट्रपति
२५ जुलाई २०१२काली शेरवानी और सफेद चूड़ीदार पहले मुखर्जी ने इस खास अवसर के लिए पारंपरिक पहनावा चुना. मर्सिडीस बेंज एस 600 में राष्ट्रपति भवन पहुंचे मुखर्जी को पहले गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया, जिसके बाद भारत के सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस एसएच कपाड़िया ने उन्हें राष्ट्रपति पद की शपथ दिलाई. इस मौके पर उप राष्ट्रपति हामिद अंसारी, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, लोक सभा अध्यक्ष मीरा कुमार और यूपीए प्रमुख सोनिया गांधी सहित कई केंद्रीय मंत्री राष्ट्रपति भवन में समारोह में उपस्थित थे.
शपथ लेने के बाद मुखर्जी ने देश को राष्ट्रपति की हैसियत से पहली बार संबोधित करते हुए कहा कि गरीबों को भी एहसास होना चाहिए कि वे एक बढ़ते भारत का हिस्सा हैं. उन्होंने कहा कि वे हर तरह से भारत के संविधान की रक्षा करेंगे और राष्ट्रपति होने के नाते जितना हो सके, उतना निष्पक्ष रहने की कोशिश करेंगे. नए राष्ट्रपति के भाषण में शिक्षा पर जोर दिया गया है. उन्होंने कहा कि भारत में स्वर्ण युग केवल शिक्षा के आधार पर लाया जा सकता है.
राष्ट्रपति के भाषण के बाद उप राष्ट्रपति हामिद अंसारी ने भी देश को संबोधित किया. शपथ समारोह से पहले मुखर्जी महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देने राजघाट पहुंचे और वीरभूमि में राजीव गांधी, शक्ति स्थल में इंदिरा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री के स्मारकों पर भी फूल चढ़ाए. मुखर्जी के साथ शहर विकास मंत्री कमल नाथ मौजूद थे.
भारत में राष्ट्रपति पद एक समारोही पद है, जबकि सरकार का प्रमुख प्रधानमंत्री होता है. भारत में प्रधानमंत्री की नियुक्ति राष्ट्रपति करता है और संसद में विभिन्न पार्टियों की स्थिति को देखते हुए अगले चुनावों में किसी को स्पष्ट बहुत न मिलने की संभावना है. विश्लेषक मानते हैं कि 2014 में चुनावों के बाद सरकार तय करने में प्रणब मुखर्जी की भूमिका अहम रहेगी.
एमजी/एमजे(पीटीआई,एपी,डीपीए)