भारत के खिलाफ बोलने पर अफरीदी को झाड़
५ अप्रैल २०११शाहिद अफरीदी ने कहा था कि भारतीयों का दिल मुसलमानों और पाकिस्तानियों जितना बड़ा नहीं हो सकता. उन्होंने भारतीय मीडिया की भी आलोचना की थी और कहा था कि भारतीयों के साथ रहना या लंबे समय तक रिश्ते कायम रखना बहुत मुश्किल है.
इस बारे में आमिर सोहेल ने कहा कि अफरीदी को इस तरह की बातें नहीं करनी चाहिए थीं. उन्होंने कहा, "मोहाली में भारत और पाकिस्तान के बीच खेले गए सेमीफाइनल मैच से सद्भावना का संचार हुआ है. ऐसे में अफरीदी को इस तरह की टिप्पणी नहीं करनी चाहिए थी. उन्हें हर व्यक्ति का सम्मान करना चाहिए." सोहेल ने कहा कि उनकी टिप्पणी न सिर्फ बचकाना है बल्कि यह बेवक्त आई है.
अफरीदी ने भारतीय मीडिया की भी आलोचना की थी. लेकिन सोहेल ने कहा कि मीडिया की एक खास भूमिका होती है. उन्होंने भारतीय टीवी चैनल टाइम्स नाउ से बातचीत में कहा, "मीडिया को एक खास भूमिका निभानी होती है. वह एक मुद्दे के अलग अलग पहलुओं को उभारती है. मेरे लिए मीडिया बदन में दर्द की तरह है. आपको मीडिया से निपटना होता है और रिश्तों के जरिए ही इसका हल खोजना होता है, ठीक वैसे ही, जैसे हमें दर्द के लिए डॉक्टर से मिलते हैं."
रिपोर्टः पीटीआई/वी कुमार
संपादनः एन रंजन