1. कंटेंट पर जाएं
  2. मेन्यू पर जाएं
  3. डीडब्ल्यू की अन्य साइट देखें

मध्य यूरोप में रेडियोएक्टिव विकिरण

१२ नवम्बर २०११

यूरोप के कई देशों में रेडियोएक्टिव कण मिले हैं. अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी को यह पता नहीं चल पा रहा है कि रेडियोएक्टिव कण आए कहां से हैं. ऑस्ट्रिया ने अंटलांटिक के ऊपर उड़ान भरने वाले यात्रियों को आगाह किया.

https://p.dw.com/p/139AM
तस्वीर: picture alliance/dpa

अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) के मुताबिक ऑस्ट्रिया, चेक गणराज्य और हंगरी की आबो हवा में रेडियोएक्टिव तत्व मिले हैं. आईएईए ने बयान जारी कर कहा है, "चिंता की बात यह है कि कहीं इसका स्त्रोत है." रेडियोएक्टिव तत्व आयोडीन-131 कहां से लीक हो रहा है, इसका पता फिलहाल नहीं चल पाया है.

चेक गणराज्य के नाभिकीय सुरक्षा विभाग ने अक्टूबर में रेडियोएक्टिव तत्व पाए जाने का दावा किया. चेक अधिकारियों ने आईएईए को यह सूचना दी. जानकारी के बाद आईएईए ने यूरोप के कई अन्य इलाकों की जांच की और उसे भी रेडियोएक्टिव तत्व मिले.

British Airways Boeing 767 in London Heathrow Fall Alexander Litwinenko Pollonium-210
तस्वीर: AP

इस बात की जानकारी दी. आईएईए ने इस संभावना को खारिज किया है कि रेडियोएक्टिव तत्व जापान के फुकुशिमा परमाणु संयंत्र से आए हैं. यह आशंका जताई जा रही है कि 2003 में हादसे का शिकार हुए हंगरी के परमाणु संयंत्र से यह रेडियोएक्टिव तत्व रिस रहे हो सकते हैं. इस बात की भी जांच की जा रही है कि कहीं रेडियोएक्टिव फॉर्मास्यूटिकल कंपनियों के कचरे से यह समस्या जन्म नहीं ले रही है.

आईएईए के बयान में कहा गया है, "आईएईए को लगता है कि जांच में नापा गया आयोडीन-131 का मौजूदा स्तर आम लोगों के स्वास्थ्य के लिए जोखिम भरा नहीं है. जापान के फुकुशिमा दाइची परमाणु हादसे की वजह से नहीं है." आईएईए ने यूरोप के देशों से कहा है कि इस संबंध में ताजा जानकारी उसकी वेबसाइट पर दी जाएगी.

लेकिन ऑस्ट्रिया के स्वास्थ्य मंत्रालय का कहना है कि जो यात्री अंटलांटिक महासागर के ऊपर से उड़ान भर रहे हैं उन पर मौजूदा रेडियोएक्टिव विकिरण का खतरा 40,000 गुना ज्यादा है.

रिपोर्ट: डीपीए, रॉयटर्स/ओ सिंह

संपादन: वी कुमार

इस विषय पर और जानकारी को स्किप करें

इस विषय पर और जानकारी