यूरोप में अभी ये हाल, तो गर्मी में क्या होगा
2022 में यूरोप के कई देशों में सूखा पड़ा था. इस साल भी हालात बेहतर नहीं लग रहे. यूरोप में आमतौर पर अप्रैल-मई वसंत का महीना होता है. अभी से ही कई जगहों पर सूखे की स्थिति चिंताजनक है.
पिछले साल भी फ्रांस में सूखा पड़ा था
यह फ्रांस के सेर पोशो झील की तस्वीर है. यह फ्रांस की सबसे बड़ी कृत्रिम झील है. 23 मई को ली गई इस तस्वीर में झील का पानी अपने आदर्श जलस्तर से 11.76 मीटर नीचे है. अभी गर्मी का पूरा मौसम बाकी है. पिछले साल भी यहां सूखे की स्थिति बहुत गंभीर थी.
सूखी नदियां
फ्रांस में 2022 से भी ज्यादा गंभीर सूखे की स्थिति बनती नजर आ रही है. यहां गर्मी का मौसम और ज्यादा सूखा रहने की संभावना है, मतलब कम बारिश. बीती सर्दियां भी शुष्क रही थीं, ऐसे में गर्म महीनों के आने से पहले जमीन को ज्यादा पानी नहीं मिल पाया. देश के तीन चौथाई हिस्से में भूमिगत जलस्तर अपने मासिक औसत से नीचे चला गया है. फरवरी 2023 की इस तस्वीर में एग्ली नदी की सूखी तलछटी दिख रही है.
पानी बचाने की फिक्र
जब जमीन सूखती है, तो किसानों को खुद सिंचाई करनी पड़ती है. इससे जलस्तर और घट जाता है. सूखा आया, तो सबसे ज्यादा असर फलों और अंगूर की बेलों पर पड़ेगा. राष्ट्रपति इमानुएल माक्रों पानी बचाने के नए तरीके लागू करने की अपील कर रहे हैं. उन्होंने कहा है कि सभी सेक्टरों को इस दशक के अंत तक पानी की अपनी खपत 10 फीसदी तक कम करनी चाहिए.
और भी देशों में गंभीर हालात
पानी की बचत के लिए बीते दिनों दक्षिणी फ्रांस के कुछ हिस्सों में स्विमिंग पूलों की बिक्री पर पाबंदी लगा दी गई. फ्रांस अकेला नहीं, जिसपर गंभीर सूखे का खतरा मंडरा रहा हो. हालिया महीनों में यूरोपीय संघ के बड़े हिस्से में मौसमी स्थितियां प्रतिकूल रही हैं. कम बारिश, गर्म लहर, बाढ़ जैसी मौसमी घटनाओं के कारण स्पेन और इटली में भी बुरा हाल है.
खेती पर संकट
बीती सर्दी और वसंत में स्पेन में बारिश सामान्य से काफी कम हुई. 2021 और 2022 में भी बारिश औसत से करीब 26 फीसदी कम हुई थी. स्पेन का एक बड़ा हिस्सा सूखे की चेतावनी का सामना कर रहा है. किसानों का भी बुरा हाल है. मवेशियों के लिए घास नहीं है. यह स्पेन के दोनाना नेशनल पार्क की तस्वीर है.
पानी की राशनिंग
मार्च 2023 की इस तस्वीर में जोबरेगात नदी कमोबेश पूरी तरह सूखी दिख रही है. कैटेलोनिया में पहले से ही सूखे के चलते पानी पर सख्त पाबंदियां लगी हैं.
अप्रत्याशित मौसम
मई में सरकार ने सूखे का सामना करने के लिए विशेष पैकेज को मंजूरी दी. एक ओर जहां कई इलाकों में सूखे जैसे हालात हैं, वहीं कुछ हिस्सों में भारी बारिश और तूफान की स्थिति है.
लगातार सूखा
2022 में पो नदी घाटी से सूखे की नाटकीय तस्वीरें आई थीं. यहां जलस्तर अब भी कम है. नदी का बहाव कम होने से पो डेल्टा में खारा पानी बढ़ जाता है. इससे खेत चौपट हो सकते हैं. अनुमान है कि पिछले साल इटली में सूखे के कारण छह अरब यूरो का नुकसान हुआ. इस बार भी बड़ी झीलों में औसत से कम जलस्तर है. अप्रैल में ही लेक गार्दा का पानी अपनी क्षमता का 38 फीसद रह गया था.
जलवायु परिवर्तन का असर
मौसम के अतिरेक मिजाज की तस्वीरें भी अलग-अलग हैं. इटली में बीते दिनों कुछ इलाकों में जमकर बारिश हुई. औचक बाढ़ में कई जानें गईं. यूरोप का बड़ा हिस्सा जलवायु परिवर्तन के चिंताजनक असर झेल रहा है. एक्सट्रीम वेदर के हालात पहले से कहीं ज्यादा नियमित हो गए हैं.