हमेशा के लिए बेकार हो सकती है नॉर्ड स्ट्रीम 1 पाइपलाइन
जर्मन विशेषज्ञों के मुताबिक समंदर में डूबी गैस पाइपलाइन की जल्द मरम्मत नहीं की गई तो वह हमेशा के लिए बेकार हो सकती है. यूरोप और अमेरिका को लग रहा है कि ये रूस की साजिश है.
पूरी बर्बादी की आशंका
जर्मन सिक्योरिटी एजेंसी को डर है कि बड़े लीकेज के बाद रूस से जर्मनी तक आने वाले नॉर्ड स्ट्रीम 1 पाइपलाइन हमेशा के लिए बेकार हो सकती है. नॉर्ड स्ट्रीम सिस्टम में दो पाइपलाइनें हैं, 1 और 2. ये एक लाख से ज्यादा पाइप सेक्शनों को जोड़कर बनाई गई हैं.
जंग लगने की आशंका
जर्मन अखबार टागेसश्पीगल के मुताबिक सुरक्षा एजेंसियों को लगता है कि अगर नॉर्ड स्ट्रीम 1 की जल्द मरम्मत नहीं की गई तो बाल्टिक सागर का खारा पानी पाइपाइन में घुस जाएगा और इससे जंग लगने लगेगी.
1,222 किमी लंबी पाइपलाइन
नॉर्ड स्ट्रीम 1 अगस्त 2022 से बंद पड़ी थी, लेकिन फिर भी उसमें इतनी गैस बची है कि वो लीक हो रही है. यूक्रेन युद्ध के कारण रूस पर लगे प्रतिबंधों की वजह से नॉर्ड स्ट्रीम 2 का उद्घाटन नहीं हो सका. दोनों पाइपलाइनों में डेनमार्क और स्वीडन के पास कुल तीन लीकेज मिले हैं.
रूस पर आरोप
अमेरिका और यूरोपीय संघ ने पाइपलाइन में लीकेज के लिए रूस को जिम्मेदार ठहराया है. यूरोप का कहना है लीकेज तोड़ फोड़ का नतीजा है और इसका जवाब दिया जाएगा.
अमेरिका पर आरोप
रूस ने अमेरिका पर नॉर्ड स्ट्रीम पाइपलाइनों को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया है. रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जाखारोवा ने सोशल मीडिया पर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन का एक पुराना वीडियो शेयर किया, जिसमें बाइडेन कह रहे हैं कि अगर रूसी टैंकों ने यूक्रेन की सीमा पार की तो हम नार्ड स्ट्रीम 2 को अंत तक ले आएंगे.
यूरोप में महंगी हुई गैस
नार्ड स्ट्रीम 1 और 2 में लीकेज मिलने के बाद से यूरोपीय बाजार में गैस और महंगी हो गई है. लीकेज की खबर के 24 घंटे बाद यूरोप में गैस के दाम सात फीसदी बढ़ गए.
नार्ड स्ट्रीम का इतिहास
2005 में तत्कालीन जर्मन चांसलर गेरहार्ड श्रोएडर और रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन ने नॉर्ड स्ट्रीम 1 पाइलपाइन के समझौते पर दस्तखत किए थे. 2012 में यह चालू हो गई. यह पाइपलाइन बाल्टिक सागर के रास्ते, रूस से सीधे जर्मनी तक गैस पहुंचाने के लिए बनाई गई थी.