यूरोप में घुसने की कोशिश करते वर्ल्ड कप फैन्स
२२ जून २०१८एक जर्मन मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक एशिया और अफ्रीका से फैन वीजा पर रूस पहुंचे कई लोग फिनलैंड पहुंच चुके हैं. कई देशों की सीमा पुलिस के मुताबिक रूस का द्वारा वीजा नियमों की दी गई ढील के चलते कई लोग रूस के रास्ते गैरकानूनी ढंग से यूरोपीय संघ के देशों में दाखिल होने की कोशिश कर रहे हैं.
वर्ल्ड कप शुरू होने के एक हफ्ते के भीतर पांच लोग रूस से फिनलैंड पहुंच गए हैं. जर्मनी की प्रतिष्ठित पत्रिका डेय श्पीगेल के मुताबिक पांचों ने रूस का वर्ल्ड कप टिकट खरीदा था. टिकट के साथ उन्हें फैन आईडी मिली. फैन आईडी पाने वाले 15 जुलाई को वर्ल्ड कप खत्म होने के बाद अधिकतम 10 दिन तक रूस में बिना वीजा के रह सकते हैं.
फिनलैंड में पकड़े गए इन पांच लोगों में तीन मोरक्को के नागरिक हैं. एक शख्स नाइजीरिया और एक चीन का है. फिनलैंड पहुंचते ही पांचों ने प्रशासन को शरण की अर्जी दी. मोरक्को के नागरिक जमीन के रास्ते फिनलैंड में दाखिल हुए. चीनी नागरिक फ्लाइट से राजधानी हेलसिंकी पहुंचा.
श्पीगेल ऑनलाइन के मुताबिक रूस की पुलिस गैरकानूनी तरीके के बॉर्डर पार करने वालों को रोकने की कोशिश कर रही है. नॉर्वे की सीमा पर रूसी पुलिस ने मोरक्को के चार नागरिकों को गिरफ्तार भी किया. हालांकि बाद में 2,000 रूबल का जुर्माना लेकर उन्हें मोरक्को वापस भेज दिया गया.
बेलारूस की पुलिस ने भी फैन आईडी के साथ पोलैंड में दाखिल होने की कोशिश कर रहे मोरक्को के चार नागरिकों को गिरफ्तार किया है. कड़ी निगरानी के अभाव में रूस से बेलारूस आना आसान है. पूरब में रूस से सटे बेलारूस की उत्तरी सीमा ईयू के देश लिथुएनिया और लातविया से मिलती है. पश्चिम में पोलैंड है.
रिफ्यूजी मुद्दे पर बीते कुछ समय से यूरोप की राजनीति में घमासान छिड़ा हुआ है. जर्मनी में चांसलर अंगेला मैर्केल की कुर्सी दांव पर लगी है. यूरोपीय संघ में शामिल पूरब के देश शरणार्थियों को लेकर कड़ी नीति अपना रहे हैं. रिफ्यूजियों की बड़ी संख्या और कई देशों में उठती धुर दक्षिणपंथी ताकतों के कारण अब मैर्केल भी दबाव में हैं. मैर्केल कोशिश कर रही हैं कि शरणार्थियों की बड़ी संख्या को यूरोपीय संघ के दरवाजे तक पहुंचने से पहले ही रोक लिया जाए. इन हालातों के बीच फैन आईडी के जरिए यूरोपीय संघ में दाखिल होने की कोशिश करते लोग राजनीतिक बहस में नया आयाम जोड़ सकते हैं.
(हंगरी के दक्षिणपंथी प्रधानमंत्री विक्टर ओरबान यूरोपीय संघ में शरणार्थियों के खिलाफ प्रमुख आवाजों में शामिल हैं. विवादों से डरे बिना उन्होंने आप्रवासन को हमला और आप्रवासियों को जहर बताया है.)
टिमोथी जोन्स/ओएसजे