मुशर्रफ, पाकिस्तान, दुबई, भारत, आतंकवाद
८ जनवरी २०१२पाकिस्तान की राजनीति में वापसी करने के लिए मुशर्रफ सऊदी अरब जाकर समर्थन जुटाना चाहते हैं. दुबई में उनके एक करीबी ने कहा, "मुशर्रफ पाकिस्तान जाने से पहले समर्थन जुटाने के लिए सऊदी अरब जाएंगे." सूत्र ने यह नहीं बताया कि मुशर्रफ किस तरह का समर्थन जुटाना चाह रहे हैं. कुछ रिपोर्टों के मुताबिक वह इस बात की गारंटी चाहते हैं कि पाकिस्तान पहुंचते ही उन्हें गिरफ्तार न किया जाए. पूर्व राष्ट्रपति चाहते हैं कि सऊदी अरब की मध्यस्थता में इस बात की गारंटी मिले.
पाकिस्तान की राजनीति में सऊदी अरब का भूमिका काफी प्रभावशाली रहती है. पाकिस्तान आर्थिक और राजनीतिक रूप से सऊदी अरब पर बहुत ज्यादा निर्भर है. पाकिस्तान में गैर लोकतांत्रिक राजनीतिक परिवर्तन की मार झेलने वाले नेता अकसर सऊदी अरब की शरण में जाते हैं.
लेकिन इन दिनों सऊदी अरब भी पाकिस्तान की राजनीतिक दशा से बेचैन हो रहा है. सऊदी कूटनीतिज्ञों के मुताबिक पाकिस्तान में सेना और सरकार के बीच तल्खी बढ़ रही है. एक अन्य सूत्र के मुताबिक, "पाकिस्तान की स्थिरता पूरे इलाके के लिए बहुत जरूरी है, इसे बरकरार रखा जाना चाहिए."
पाकिस्तान में 2013 में संसदीय चुनाव हैं. मुशर्रफ अपनी पार्टी के साथ इन चुनावों में हिस्सा लेने का एलान कर चुके हैं. लेकिन पाकिस्तान की कुछ अदालतों में उनके खिलाफ मुकदमे चल रहे हैं. पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो की हत्या के मामले में अदालत उन्हें वांछित करार दे चुकी है. मुशर्रफ पर आरोप हैं कि उन्होंने बेनजीर को पुख्ता सुरक्षा मुहैया नहीं कराई. बेनजीर भुट्टो की 2007 में एक आतंकवादी हमले में हत्या कर दी गई. पंजाब प्रांत की सरकार एलान कर चुकी है कि मुशर्रफ को पाकिस्तान में कदम रखते ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा.
यही वजहें हैं कि मुशर्रफ चाह कर भी पाकिस्तान नहीं लौट पा रहे हैं. मुशर्रफ ने 1998 में तत्कालीन प्रधानमंत्री नवाज शरीफ का तख्ता पलट कर सत्ता हथियाई. 2001 में उन्होंने खुद को राष्ट्रपति घोषित कर दिया और 2008 तक इस पद पर रहे. 2008 में राष्ट्रपति पद से इस्तीफा देने के बाद से ही वह विदेश में रह रहे हैं.
मुशर्रफ लंदन में रहते हुए वह बार बार टीवी चैनलों और अखबारों को पाकिस्तान, भारत और अमेरिका के मुद्दे पर इंटरव्यू देते रहते हैं. वह लगातार यह दिखाने की कोशिश में हैं पाकिस्तान को उनकी जरूरत है. राजनीति में उतरने के लिए वह ऑल पाकिस्तान मुस्लिम लीग नाम की पार्टी भी बना चुके हैं. वह वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए पाकिस्तान में रैलियां भी कर रहे हैं.
रिपोर्ट: रॉयटर्स/ओ सिंह
संपादन: एम गोपालकृष्णन