मुंबई में सिलसिलेवार धमाके
१३ जुलाई २०११पुलिस ने बताया कि ये धमाके जवेरी बाजार, दादर और ओपेरा हाउस के पास हुए जिनमें से दो जगह पॉश दक्षिणी मुंबई में हैं. अटकलों को काबू करने की कोशिश में पुलिस ने कहा कि वह कुछ भी कयास नहीं लगा सकती और फिलहाल इससे ज्यादा नहीं बताया जा सकता कि तीन जगह धमाके हुए हैं. पुलिस ने 21 लोगों के मरने और 120 लोगों के घायल होने की बात कही है.
इन तीनों जगहों पर काम काज के वक्त में भारी भीड़ होती है. नवबंर 2008 के आतंकवादी हमलों के बाद मुंबई में इस स्तर विस्फोट की यह पहली घटना है.
धमाकों का सबसे ज्यादा असर जवेरी बाजार में होता दिख रहा है. जहां कम से कम तीन लोगों की मौत हुई. ओपेरा हाउस के पास हुए विस्फोट में 50 लोगों के घायल होने की खबर है.
भारतीय समाचार चैनलों पर प्रसारित तस्वीरों में देखा जा सकता है कि विस्फोट के बाद अफरातफरी मच गई है और मलबा जमा हो गया है. ये धमाके भारतीय समय से शाम सात बजे के आस पास हुए.
भारतीय टेलिविजन पर एक चश्मदीद को कहते दिखाया गया, "हम अपने दफ्तर में थे तभी जबरदस्त धमाके की आवाज आई. इसके बाद हम बाहर आए तो अफरातफरी मची थी. बाद में घायलों को ट्रकों में लाद कर ले जाया गया."
2008 के मुंबई के 26/11 के आतंकवादी हमले के बाद मुंबई में सुरक्षा व्यवस्था बेहद कड़ी की गई है और मुंबई पुलिस ने सुरक्षा उपकरणों पर भारी खर्च किया है. इसके बाद सिलसिलेवार धमाकों ने पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों के साथ साथ जानकारों को भी परेशान कर दिया है. मुंबई के आतंकी हमले में 166 लोगों की जान गई थी और यह साबित हो चुका है कि उनकी साजिश पड़ोसी देश पाकिस्तान में रची गई. उस मामले में एकमात्र जीवित हमलावर अजमल आमिर कसाब को मुंबई की अदालत ने मौत की सजा सुनाई है और वह भारतीय जेल में बंद है.
रिपोर्टः एजेंसियां/ए जमाल
संपादनः आभा एम